प्रवासी भारतीय सम्मान पुरस्कार 2023
17वां प्रवासी भारतीय सम्मान पुरस्कार:- विदेशों में रहने वाले 27 भारतीयों को प्रवासी भारतीय सम्मान पुरस्कार (पीबीएसए) के लिए भारत सरकार द्वारा भारत और विदेश दोनों में उत्कृष्ट उपलब्धियों के लिए चुना गया है।
यह पुरस्कार विदेशों में रहने वाले भारतीयों को दिया जाने वाला सर्वोच्च सम्मान है, जिसमें अनिवासी भारतीय (एनआरआई), भारतीय मूल के व्यक्ति (पीआईओ) या उनके द्वारा स्थापित और चलाए जाने वाले संगठन/संस्थाएं शामिल हैं।
विदेश मंत्रालय के अनुसार, प्रवासी भारतीय दिवस 2023 का विषय “ प्रवासी: अमृत काल में भारत की प्रगति के लिए विश्वसनीय भागीदार ” होगा। यह विषय भारत की प्रगति में योगदान देने में भारतीय प्रवासियों के महत्व पर प्रकाश डालता है।
इस सन्दर्भ में कुछ प्रमुख पुरस्कार प्राप्त कर्ता उनके देश तथा संबंधित क्षेत्र का उल्लेख निम्न रूप में किया गया है:
पुरस्कार प्राप्त कर्ता | देश | क्षेत्र |
अर्चना शर्मा | स्विट्जरलैंड | विज्ञान और प्रौद्योगिकी |
रीना विनोद पुष्करणा | इजराइल | व्यापार और समाज कल्याण |
वैकुंठम अय्यर लक्ष्मणन | कनाडा | शिक्षा, स्वास्थ्य और स्वच्छ प्रौद्योगिकी |
शिवकुमार नदेसन | श्रीलंका | सामुदायिक कल्याण |
जगदीश चेन्नुपति | ऑस्ट्रेलिया | विज्ञान, तकनीक और शिक्षा |
संजीव मेहता | भूटान | शिक्षा |
दिलीप लुंडो | ब्राजील | कला-संस्कृति-शिक्षा |
अलेक्जेंडर मालियाकेल जॉन | ब्रूनेई | मेडिसिन |
जोगिंदर सिंह निज्जर | क्रोएशिया | कला और संस्कृति |
रामजी प्रसाद | डेनमार्क | आईटी |
कन्नन अंबालम | इथोपिया | सामुदायिक कल्याण |
सम्मान प्राप्तकर्ताओं का चयन :-
- प्रवासी भारतीय सम्मान प्राप्तकर्ताओं का चयन उपराष्ट्रपति की अध्यक्षता वाली एक समिति करती है। जिसमें विदेश मंत्री (एस जयशंकर) इसके उपाध्यक्ष होते हैं। जबकि समिति के अन्य सदस्य भिन्न जगहों से आते हैं।
- विदेश मंत्रालय के अनुसार, प्रवासी भारतीय सम्मान पुरस्कार के लिए समिति नामांकनों पर विचार करती है और सर्वसम्मति से विजेताओं का चयन किया जाता है।
- पुरस्कार पाने वाले प्रवासी विदेशों में अलग-अलग क्षेत्रों में अपने कामों के जरिये पहचान बनाने वाले होते हैं।